सिलसिला बातो का ख्यालो का (दिल में आया ख्याल तो बस लिख दिया !!)
चलते फिरते बिना प्रयोजन से लिखी बातो का सिलसिला !!
Friday 29 February, 2008
लेट कट
तुम कोचिंग से आ रही थी
मैं मैदान मे खेल रहा था
तुम को आता देख मैंने सोचा
आज तुमको दूँ सलामी बल्ले से
लेट कट शाट लगाया था मैंने
जो गेंद को ले गया तुम्हारे
कदमों तले !!
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